Google Gemini का 'Scheduled Actions' फीचर: अब रोजमर्रा के कामों की टेंशन लो खत्म, AI असिस्टेंट खुद संभालेगा जिम्मेदारी 10 जून,2025

क्या है Google Gemini का 'Scheduled Actions' फीचर?

सोचिए, सुबह उठते ही आपके पास एकदम सटीक ईमेल और कैलेंडर अपडेट मिल जाएं, ब्लॉग आइडिया हर हफ्ते अपने आप तैयार हो जाएं, या कोई जरूरी एनालिटिक्स हर शुक्रवार ब्रेकफास्ट के दौरान मिल जाए। यही काम अब Google Gemini के नए 'Scheduled Actions' फीचर से मुमकिन है। ये फीचर गूगल के AI Pro/Ultra सब्सक्राइबर्स और वर्कस्पेस (बिज़नेस व एजुकेशन) यूजर्स के लिए लॉन्‍च हुआ है। यानी अभी ये सभी को नहीं, बल्कि खास यूजर्स को एक्सक्लूसिव तौर पर मिल रहा है।

इस फीचर का सबसे बड़ा फायदा यह है कि आपको बार-बार टाइप करके कुछ टास्क अलॉट नहीं करने पड़ेंगे। एक बार कहिए – 'हर सोमवार पांच ब्लॉग आइडिया दो', या 'हर सुबह 8 बजे आज के ईमेल्स का सारांश दो' – और Gemini अपने आप इन कामों को तय वक्त पर करता रहेगा। दोहराव वाले, रूटीन कामों के लिए ये कमाल का ऑटोमेशन लेकर आया है।

कैसे काम करता है ये नया ऑटोमेशन?

Scheduled Actions को सेट करना भी उतना ही आसान है, जितना किसी दोस्त से चैट करना। बस Gemini ऐप में अपनी भाषा में बोलिए या टाइप करिए – काम अपने आप शेड्यूल हो जाएगा। अब भूल जाने या मिस कर देने का खतरा नहीं है। यही नहीं, अगर बीच में कभी टास्क बदलना या हटाना है, तो Gemini के स्पेशल Scheduled Actions पेज पर जाकर आसानी से एडिट किया जा सकता है।

यूजर्स की सुविधा को ध्यान में रखते हुए गूगल ने इसमें कई तरह की रूटीन ऑटोमेट करने के ऑप्शंस ऐड किए हैं:

  • सुबह की लाइफ आसान: जैसे ही आप जगें, तुरंत अनरीड ईमेल्स और सभी अपकमिंग मीटिंग्स का एक क्लीयर ओवरव्यू Gemini भेज देगा।
  • कंटेंट क्रिएशन: हर हफ्ते या महीने Gemini आपके दिए गए टॉपिक्स पर अपने आप नया कंटेंट सजेस्ट कर सकता है।
  • स्पोर्ट्स या शो फैंस के लिए: अगर आप IPL या किसी शो के रिव्यू चाहते हैं, तो Gemini पोस्ट-इवेंट आपको तुरंत डिटेल्ड अपडेट भेज देगा।
  • रिमाइंडर और एनालिसिस: जरूरी टास्क जैसे – किसी खास दिन डेटा एनालिसिस या मीटिंग रिमाइंडर – बगैर आपको इनपुट दिए खुद चलेंगे।

ये सब आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस की वजह से पॉसिबल है, जिसने ‘रिएक्टिव’ से लेकर ‘प्रोएक्टिव’ असिस्टेंट बनने तक का सफर तय कर लिया है। अब Gemini सिर्फ पूछे गए सवालों का जवाब नहीं, बल्कि आपके रूटीन और जरूरतों को समझकर खुद एक डिजिटल कोवर्कर की तरह व्यवहार कर रहा है।

फिलहाल, ये सुविधा केवल पैसे देकर सब्सक्राइब करने वालों को मिल रही है। गूगल का कहना है कि आने वाले समय में शायद इसे फ्री यूजर्स के लिए भी लाया जाए। लेकिन अभी Pro/Ultra या वर्कस्पेस यूजर का टैग लगे बिना इसकी एक्सेस संभव नहीं है।

दिनभर के जरूरी काम–चाहे वो ईमेल चेक करना हो, या किसी इवेंट का अपडेट चाहिए हो– अब हाथ में मोबाइल लेकर बार-बार कोशिश करने की जरूरत नहीं है। Gemini की वजह से काम ऑटोमैटिकली SET हो जाएगा, जिससे वक्त और एफर्ट दोनों बचेंगे।

टिप्पणि
Arun Kumar
Arun Kumar 12 जून 2025

ये फीचर तो बिल्कुल जादू है! मैं हर सुबह ईमेल्स का सारांश चाहता हूँ, अब बस एक बार बोल दूंगा और बाकी सब खुद हो जाएगा। जिंदगी आसान हो गई 😎

Aayush Bhardwaj
Aayush Bhardwaj 14 जून 2025

अरे भाई, ये सब तो बस एक और गूगल का झूठ है। जब तक तुम इसे फ्री में नहीं देते, तब तक ये सिर्फ पैसे वालों का खेल है। आम आदमी को तो अभी तक बेसिक फीचर्स भी नहीं मिले, अब ये एक्सक्लूसिव बनाने की बात कर रहे हो।

Anurag goswami
Anurag goswami 16 जून 2025

मुझे लगता है ये एक असली क्रांति है। AI जो सिर्फ जवाब देता था, अब वो पहले से ही सोच रहा है कि तुम्हें क्या चाहिए। मैंने अपने वर्कस्पेस में इसे ट्राई किया है - हर शुक्रवार को मेरा डेटा रिपोर्ट खुद आ जाता है। बस एक बार सेट कर दो, बाकी खुद संभाल लेता है।

Saksham Singh
Saksham Singh 18 जून 2025

अरे यार, इतना बड़ा धमाका क्यों? ये तो सिर्फ एक रिमाइंडर एप्प का अपग्रेड है, जिसमें थोड़ा AI जादू डाल दिया गया। अगर तुम्हें ये इतना शानदार लग रहा है, तो तुम्हारे लिए गूगल के पुराने टूल्स भी काफी थे। ये फीचर तो बस एक बेहतर ऑटो-टाइप है, जिसे अब एआई का नाम दे दिया गया। असली इनोवेशन तो वो है जो लोगों को बिना किसी टाइपिंग के जीवन जीने दे। ये तो बस टाइपिंग कम कर रहा है, नहीं तो जीवन आसान कर रहा।

Ashish Bajwal
Ashish Bajwal 18 जून 2025

मैंने इसे ट्राई किया है... और वाह! बस एक बार बोला कि 'हर रविवार को मुझे फिल्म रिव्यू भेजना'... और फिर वो आ गया! बिल्कुल जैसे कोई दोस्त हो जो तुम्हारी आदतें जानता हो... मैं अब इसे बिना बोले भी चलाना चाहता हूँ... बस ये तो जिंदगी बदल देगा...!!!

Biju k
Biju k 20 जून 2025

ये फीचर तो बस शुरुआत है... जब तक हम AI को अपना दोस्त नहीं समझ लेते, तब तक हम अपनी जिंदगी के छोटे-छोटे बोझ को उतार नहीं पाएंगे... ये नहीं कि तुम बार-बार टाइप करो... बल्कि तुम बस जीना शुरू कर दो... 🤝✨

Deepak Vishwkarma
Deepak Vishwkarma 22 जून 2025

हम भारतीय लोगों को इस तरह के फीचर्स की जरूरत नहीं है। हमारी जिंदगी तो अपने आप बहुत भारी है, अब और AI का दबाव क्यों? अगर ये फीचर असली है, तो पहले गांवों में इंटरनेट चलाओ, फिर ये सब बातें करो।

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