मुंबई के जिओ वर्ल्ड कन्वेंशन सेंटर में अनंत अंबानी और राधिका मर्चेंट की भव्य शादी ने सबका ध्यान खींचा, जब हॉलीवुड एक्टर और पूर्व WWE चैंपियन जॉन सीना ने अपनी उपस्थिति से महफिल सजाई। सीना ने भारतीय पारंपरिक परिधान पहनकर सबको चौंका दिया। उन्होंने नीले कुर्ते के साथ सिल्वर कढ़ाई वाली शेरवानी और सफेद पायजामा पहना हुआ था।
यह देखना दिलचस्प था कि एक विदेशी सेलिब्रिटी ने भारतीय संस्कृति और परिधानों के प्रति इतना स्नेह और सम्मान जाहिर किया। सीना ने अपने पसंदीदा 'फाइव नकल शफल' रूटिन को भी बड़े उत्साह के साथ प्रस्तुत किया। भारतीय समारोहों में ढलने की उनकी यह कोशिश प्रशंसनीय थी और उन्होंने शादी का समारोह और भी खास बना दिया।
इस भव्य शादी समारोह में सिर्फ जॉन सीना ही नहीं, बल्कि प्रियंका चोपड़ा, निक जोनास, राम चरण, किम कर्दाशियन, उनकी बहन ख्लो कार्दशियन, ब्रिटेन के पूर्व प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन और सैमसंग इलेक्ट्रॉनिक्स के एग्जीक्यूटिव चेयरमैन जे वाई ली सहित कई मशहूर हस्तियों ने भी अपनी उपस्थिती दर्ज करवाई। किम कर्दाशियन ने ताज कोलाबा में अपने स्वागत की तस्वीरें इंस्टाग्राम पर साझा की, जिसमें उनकी उत्साह भरी अंगड़ाई और वहां की सुंदरता का अंदाज साफ झलकता है।
अनंत अंबानी और राधिका मर्चेंट की शादी की आरंभिक रस्में अंबानी के प्रसिद्ध घर एंटीलिया में आयोजित की गई थी। वहां से समारोह जिओ वर्ल्ड कन्वेंशन सेंटर में पहुँचा, जहां के भव्य आयोजनों ने मेहमानों को मंत्रमुग्ध कर दिया। एक वीडियो में सजीव संगीत प्रस्तुतियों और दुल्हे के बारातियों की तैयारी की झलक ने इसमें चार चांद लगा दिए।
जॉन सीना की भारतीय संस्कृति में सम्मान और सहभागिता ने भारतीय प्रशंसकों का दिल जीत लिया। सीना का यह भारतीय परिधान पहनकर इस महत्वपूर्ण समारोह में भाग लेना बता सकता है कि वह सिर्फ एक बड़े खिलाड़ी ही नहीं, बल्कि एक संवेदनशील और सांस्कृतिक व्यक्ति भी हैं। उनकी यह उपस्थिति और अंदाज आगामी समय में उनकी अधिक भारतीय फिल्मों या इवेंट्स में भागीदारी की ओर इशारा कर सकती है।
अंबानी परिवार द्वारा आयोजित यह भव्य शादी समारोह हर दृष्टिकोण से शानदार रहा। सितारों की चमक, भव्य स्थान, और समारोह की रीति-रिवाजों ने इसको सचमुच यादगार बना दिया। जॉन सीना जैसे पश्चिमी सेलिब्रिटी की मौजूदगी ने इसे अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भी सुर्खियों में लाया, जिससे न सिर्फ भारतीय संस्कृति का परचम लहराया बल्कि पारंपरिक परिधानों का भी खासा प्रचार हुआ।
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